आइना देख के कहते हैं सँवरने वाले
आज बे-मौत मरेंगे मिरे मरने वाले
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टैग्ज़ : वैलेंटाइन डेऔर 1 अन्य
हश्र तक बे-गुनही नाज़ करेगी मुझ पर
वो मिरा तेरी निगाहों में बुरा हो जाना
ज़ब्त-ए-ग़म वुफ़ूर-ए-शौक़ और दिल-ए-ना-सुबूर-ए-इश्क़
मुझ को तो है ग़ुरूर-ए-इश्क़ आप को नाज़ हो न हो
नाज़ुकी क़ामत-ए-ज़ेबा की बयाँ क्या कीजे
पैरहन भी जहाँ उस्लूब-ए-नज़ाकत माँगे